deltin33 Publish time 2025-12-6 21:09:24

Dehradun: राजाजी में इजिप्शियन गिद्ध पर लगाया जीपीएस टैग, स्वच्छंद विचरण के लिए छोड़ा; अब मिलेगी अहम जानकारी

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मोतीचूर रेंज में वर्ल्ड वाइड फंड फार नेचर इंडिया के सहयोग से एक इजिप्शियन गिद्ध को सेटेलाइट टैग लगाकर छोड़ा गया।



संवाद सूत्र, जागरण रायवाला : गिद्धों के संरक्षण को लेकर राजाजी टाइगर रिजर्व ने एक ओर अहम कदम बढ़ाया है।शुक्रवार को मोतीचूर रेंज में वर्ल्ड वाइड फंड फार नेचर (डब्लूडब्लूएफ) इंडिया के सहयोग से एक इजिप्शियन गिद्ध को सेटेलाइट टैग लगाकर स्वच्छंद विचरण के लिए छोडा है। यह टैग 50 ग्राम वजन का है। जिसके माध्यम से गिद्धों के संरक्षण, भोजन, आवास और ठहराव स्थलों का पता लगाया जा सकेगा। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

वन्यजीव प्रतिपालक अजय सिंह लिंगवाल ने बताया कि वर्ष 2023 से उत्तराखंड वन विभाग व डब्लूडब्लूएफ इंडिया की ओर से राप्टर प्रजातियों पर सेटेलाइट टेलीमिट्री से शोध कार्यक्रम किया जा रहा है।

जिसमें प्रथम चरण में अभी तक छह गिद्धों को जीपीएस टैग किया जा चुका है। अब द्वितीय चरण में अन्य गिद्धों को टैग लगाया जाना है। उन्होंने बताया कि जीपीएस टैग के माध्यम से इजिप्शियन गिद्ध की निगरानी की जाएगी।

यह पता लगाया जा सकेगा कि वह किन क्षेत्रों में भोजन, आवास और ठहराव करते हैं। यह प्रयोग से गिद्धों के संरक्षण के लिए बेहद मददगार साबित होगा।

इस अवसर पर डब्लूडब्लूएफ इंडिया के कार्यक्रम निदेशक डा. सेजल बोरा, तकनीकी निदेशक डा. जी अरिन्द्रन, डा. आइपी बौपंना, रेप्टर कंजर्वेशन प्रोग्राम के सीनियर प्रोजेक्टर आफिसर सनी जोशी, प्रोजेक्ट आफिसर प्रतीक देशाई एवं वन्यजीव प्रतिपालक सरिता भट्ट, राजाजी के वरिष्ठ पशुचिकित्साधिकारी डा. विवेकानंद सती व वन क्षेत्राधिकारी महेश प्रसाद सेमवाल आदि रहे।
इजिप्शियन गिद्ध

इजिप्शियन वल्चर (सफेद गिद्ध) एक छोटी, पुरानी गिद्ध प्रजाति है। यह गिद्ध \“प्रकृति के सफाईकर्मी\“ के रूप में भी जाना जाता है जो लाशें और कचरा खाकर पारिस्थितिकी तंत्र को साफ रखता है।

यह शिकार के लिए अंडे तोड़ने के लिए पत्थर का उपयोग करने की दुर्लभ क्षमता रखता है। लेकिन यह गिद्ध पशु चिकित्सा में प्रयुक्त होने वाली डाइक्लोफेनाक दवा के दुष्प्रभाव, जहर और बिजली के तारों से टकराने के कारण विलुप्त होने के कगार पर है।

यह यूरोप और अफ्रीका से भारत तक प्रवास करता है। यह प्राचीन सभ्यताओं में पवित्र पक्षी माना जाता था।
राजाजी में बढ़ रहे गिद्ध

हिमालय की तलहटी में स्थित राजाजी टाइगर रिजर्व में घोर संकटग्रस्त गिद्ध आबाद हो रहे हैं। बीते वर्षों में वनकर्मियों को पार्क की विभिन्न रेंजों में बड़ी संख्या में सफेद रंग के गिद्ध और शाहीन बाज दिखाई दिए हैं।

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राजाजी टाइगर रिजर्व के मोतीचूर रेंज में वर्ल्ड वाइड फंड फार नेचर (डब्लूडब्लूएफ) इंडिया के सहयोग से एक इजिप्शियन गिद्ध को सेटेलाइट टैग लगाकर स्वच्छंद विचरण के लिए छोड़ा गया।
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