Chikheang Publish time 2025-12-13 03:07:08

नोएडा देश का दूसरा सबसे प्रदूषित शहर, AQI 395 के बाद भी पानी का छिड़काव बंद; नियमों की उड़ रही धज्जियां

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प्रतीकात्मक तस्वीर।



जागरण संवाददाता, नोएडा। नोएडा की हवा की गुणवत्ता बेहद खराब श्रेणी में पहुंच गई है, जिससे निवासियों को सांस लेने में कठिनाई हो रही है। शुक्रवार को नोएडा को देश में दूसरे और ग्रेनो को तीसरे सबसे प्रदूषित शहर के रूप में दर्ज किया गया। नोएडा का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआइ) 395 और ग्रेनो का 383 है। जो कि गंभीर श्रेणी में आता है। इस स्थिति के कारण लोगों को घर से बाहर निकलते समय मास्क पहनना अनिवार्य हो गया है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

शहर के सबसे प्रदूषित क्षेत्रों में सेक्टर 125 का एक्यूआइ 415 और सेक्टर 116 का 435 दर्ज किया गया है। इन क्षेत्रों में अवैध रूप से आरएमसी प्लांट संचालित हो रहे हैं, जिसके कारण स्थानीय निवासियों को दिन-रात प्रदूषित हवा में सांस लेना पड़ रहा है। इसके बावजूद जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है, जिससे हवा की गुणवत्ता गंभीर स्तर तक पहुंच गई है। निवासियों को अपने घरों को पूरी तरह से बंद करके रहना पड़ता है ताकि प्रदूषित हवा अंदर न आए।

इसके अतिरिक्त नोएडा प्राधिकरण द्वारा सड़कों पर पानी का छिड़काव नहीं किया जा रहा है, जिससे धूल की परतें जमी रहती हैं। निर्माण कार्य भी नियमों का उल्लंघन करते हुए किया जा रहा है।

वहीं, लोगों को प्रदूषण कम करने की सलाह दी जाती है, प्राधिकरण के ठेकेदार खुद नियमों का पालन नहीं कर रहे हैं। कई बार शिकायतें करने के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

वर्तमान में हवा की गति 6 किमी प्रति घंटे है, जो प्रदूषण की परत को हटाने में असमर्थ है। रात का तापमान 8 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम तापमान 25 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है।

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