कुशीनगर में 13 वर्ष की उम्र में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पद पर हुआ था चयन, सवाल उठने पर डीपीओ ने मांगा जवाब
/file/upload/2025/12/6719721183582426740.webp13 वर्ष की उम्र में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पद पर हुआ था चयन।
जागरण संवाददाता, पडरौना। बाल विकास विभाग में अजीबोगरीब मामला सामने आया है। यहां मुख्य सेविका पद पर तैनात मंजू देवी के शैक्षिक प्रमाण-पत्र संदिग्ध पाए गए हैं। मुख्य सेविका पद से पहले वह आंगनबाड़ी कार्यकर्ता थीं और मह 13 वर्ष की उम्र में ही उनका चयन इस पद के लिए हो गया था। प्रकरण संज्ञान में आने के बाद डीपीओ कुशीनगर ने डीपीओ गोरखपुर को पत्र भेजकर इससे जुड़ी जानकारी मांगी है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
डीपीओ कुशीनगर ने पत्र में कहा है कि आरटीआई के तहत मांगी गई सूचना में यह बात सामने आई है कि यहां मुख्य सेविका पद पर तैनात मंजू देवी इससे पहले आंगनबाड़ी कार्यकर्ता थीं। बरवन डिगर विकास खंड गगहा जिला गोरखपुर में वह तैनात थीं।
सात फरवरी 1983 को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पद पर उनकी नियुक्त हुई थी। आठ जनवरी 2007 काे मुख्य सेविका के पद पर प्रोन्नति होने के बाद उनकी तैनाती कुशीनगर में हुई। उनके हाईस्कूल के प्रमाणपत्र में जन्म तिथि 29 दिसंबर 1969 दर्ज है। जबकि आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पद पर उनका चयन दो जुलाई 1983 को हुआ है।
इस तरह महज 13 वर्ष एक माह 28 दिन पर ही वे आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पद के लिए चयनित हो गईं। इससे उनका शैक्षिक प्रमाण पत्र संदिग्ध प्रतीत हो रहा। डीपीओ एके दुबे ने बताया कि जांच चल रही है। आख्या प्राप्त होने के बाद नियमानुसार कार्रवाई होगी।
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