जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। दिल्ली विश्वविद्यालय (DU) की चल रही शीतकालीन सेमेस्टर परीक्षाओं में बुधवार को रिकार्ड संख्या में छात्रों की भागीदारी दर्ज की गई। विश्वविद्यालय के इतिहास के सबसे बड़े एकदिवसीय परीक्षा अभियानों में से एक के तहत कुल 2,28,781 छात्र-छात्राएं परीक्षा में शामिल हुए। परीक्षाएं राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) और च्वाइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम (सीबीसीएस) के अंतर्गत आयोजित की जा रही हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
विश्वविद्यालय की परीक्षा शाखा की ओर से जारी आधिकारिक स्थिति रिपोर्ट के अनुसार, परीक्षा कार्यक्रम का मुख्य फोकस स्नातक पाठ्यक्रमों पर रहा। एक ही दिन में कुल 904 अलग-अलग प्रश्नपत्र विभिन्न परीक्षा केंद्रों पर कराए गए, जो इस विशाल शैक्षणिक अभ्यास के पैमाने और जटिलता को दर्शाता है।
इस दौरान स्कूल ऑफ ओपन लर्निंग (एसओएल) के छात्रों की भागीदारी भी उल्लेखनीय रही। एसओएल के 65,413 स्नातक और 2,002 स्नातकोत्तर छात्रों ने परीक्षा दी, जिससे कुल उपस्थिति में उनका योगदान लगभग 30 प्रतिशत रहा।
नियमित स्नातक पाठ्यक्रमों के 1,61,366 छात्र परीक्षा में शामिल हुए, जो सबसे बड़ा समूह रहा। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि बुधवार को नियमित स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों की कोई परीक्षा निर्धारित नहीं थी। नियमित और एसओएल छात्रों को मिलाकर पूरे दिन की परीक्षाओं में स्नातक स्तर की परीक्षाएं ही केंद्र में रहीं।
परीक्षा आंकड़ों के अनुसार सुबह 9:30 बजे के सत्र में सबसे अधिक उपस्थिति रही। इस सत्र में 1,52,476 छात्र परीक्षा में बैठे, जबकि दोपहर 2.30 बजे के सत्र में 76,305 छात्र शामिल हुए। सुबह के सत्र में कुल 795 प्रश्नपत्र आयोजित किए गए, जिनमें अधिकांश नियमित और नान-कालेजिएट महिला शिक्षा बोर्ड के स्नातक पाठ्यक्रमों से जुड़े थे।
हालांकि कुछ केंद्रों पर प्रश्नपत्रों के वितरण से जुड़ी सीमित लाजिस्टिक समस्याएं सामने आईं, फिर भी विश्वविद्यालय प्रशासन के अनुसार अधिकांश केंद्रों पर परीक्षाएं शांतिपूर्ण और सुचारु रूप से संपन्न हुईं। डीयू अधिकारियों ने परीक्षा संचालन को कुल मिलाकर सफल बताया।
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